VastuTips for Marriage:शीघ्र विवाह के लिए इस दिशा में सोयें

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यदि वास्तु शास्त्र शिल्प कला की आंखे हैं तो यह हमें जीवन जीने के सूत्र बताने वाला आईना भी है। वास्तु शास्त्र हमें बताता है कि घर के किस हिस्से में स्टडी रूम होना चाहिए, किस हिस्से में बैडरूम होना चाहिए, किस हिस्से में अतिथियों का कमरा हों, किसे हिस्से में नौकरों के क्वार्टर हो आदि। इस प्रकार वास्तु शास्त्र हमें यह भी बताता है कि घर के किस हिस्से में जल्द विवाह के इच्छुक लडके-लड़कियों का कमरा बनाना चाहिए। वास्तु शास्त्र एक विज्ञान भी है क्योंकि जब यह बताता है कि ‘‘ऐसा होना चाहिए!’’ तो ऐसा क्यों होना चाहिए उसके पीछे का ‘‘कारण’’ भी बताता है।


वास्तु शास्त्र कहता है कि घर की दसों दिशाओं में संतुलन होना चाहिए। क्योंकि हर दिशा में किसी ना किसी देवता का वास होता है। जैसे घर के ईशान हिस्से में गुरू बृहस्पति देव का निवास होता है तो वहीं उत्तर दिशा को कुबेर देवता यानि धन के देवता संभालते हैं। वायव्य दिशा यानि नोर्थ-वेस्ट को चंद्र देव संभालते हैं। जो हमारी सामाजिकता, प्रतिष्ठा यानि गुडविल का प्रतिनिधित्व करते हैं। यहां पर हमारे अध्ययन का विषय वायव्य कोण (नोर्थ वेस्ट) है।


घर का सबसे अहम हिस्सा ईशान कोण (नोर्थ-ईस्ट) होता है यह घर के पुरूष संतान के जन्म और उनके चरित्र को तो प्रभावित करता ही है साथ ही घर के स्वामी व धन-धान्य को भी प्रभावित करता है। ईशान दिशा के बाद घर की सबसे महत्वपूर्ण दिशा वायव्य कोण हैं। जिसमें रहने से, आफिस बनाने से गृहस्वामी को अत्यंत लाभ होता है और तरक्की मिलती है।

शीघ्र विवाह के लिए इस दिशा में सोयें 


उत्तर और वायव्य दिशाएं गतिशील दिशाएं मानी जाती हैं। उत्तर दिशा कुबेर का स्थान तो है ही साथ ही यह दिशा घर के सबसे छोटे सदस्य का भी प्रतिनिधित्व करती है, जिन्हें हम कुबेर (यदि लड़का है) या लक्ष्मी (यदि लड़की है) का रूप मान सकते हैं। यदि बचपन से ही इस दिशा का कमरा घर के सबसे छोटे सदस्य के लिए निर्धारित कर दिया जाये तो उसकी शिक्षा आदि में कोई समस्या बड़े होने तक भी नहीं आती। यदि आपके पास सिर्फ एक कमरा है या इस दिशा में कोई कमरा नहीं है तो आप जिस भी कमरे में सोते हैं उस कमरे के वायव्य हिस्से में घर के छोटे सदस्य का पलंग बिछाना चाहिए।


घर के विवाह योग्य लड़के या लड़की का कमरा उत्तर (नोर्थ) या वायव्य दिशा (नोर्थ-वेस्ट) में बनाना चाहिए ऐसा करने से उसके शीघ्र विवाह का योग बनता है। उस कमरे की इस दिशा में राम-सीता, शिव-पार्वती के विवाह की तस्वीरें लगा दी जाये तो और भी उत्तम है, उनके शीघ्र विवाह के योग बनते हैं।

तो साथियों आपको ये आलेख कैसा लगा कमैंटस करके बताना न भूले, अगले आलेख तक के लिए मुझे आज्ञा दीजिए नमस्कार जयहिन्द।
प्रस्तुति: संजय कुमार गर्ग, वास्तुविद्, एस्ट्रोलोजर   
sanjay.garg2008@gmail.com

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